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केदारनाथ यात्रा ने सफलता के नए आयाम रचे, तीसरे सप्ताह में यात्रियों की संख्या 4 लाख पार

पत्रिका न्यूज नेटवर्क 

Rudraprayaag: बाबा केदारनाथ की यात्रा इस वर्ष सफलता के नए कीर्तिमान स्थापित कर रही है। तीर्थयात्रियों की भारी आस्था और सरकार व प्रशासन की चुस्त व्यवस्थाओं के चलते मात्र तीसरे सप्ताह में ही केदारनाथ धाम पहुंचने वाले श्रद्धालुओं की संख्या 4 लाख से अधिक हो चुकी है। यात्रा मार्ग से लेकर धाम तक की व्यवस्थाओं को लेकर श्रद्धालु भी बेहद संतुष्ट नजर आ रहे हैं। सरकार व प्रशासन द्वारा किए गए इंतज़ामों की लोग खुले दिल से सराहना कर रहे हैं।

श्रद्धालुओं ने साझा किए अनुभव 

पुणे, महाराष्ट्र से आए डॉक्टर दंपति – डॉ. मनिषा चौरे और डॉ. रामचंद्र चौरे ने अपने अनुभव साझा करते हुए बताया कि उन्होंने पहली बार पैदल मार्ग से केदारनाथ यात्रा की है और उन्हें पूरे मार्ग में कहीं भी कोई परेशानी नहीं हुई। उन्होंने कहा कि पैदल मार्ग पर रहने, खाने, पेयजल, शौचालय समेत हर जरूरी सुविधा आसानी से उपलब्ध थी। प्रशासन की ओर से समय-समय पर गर्म पानी की भी व्यवस्था की गई, जिससे उन्हें यात्रा में विशेष सुविधा मिली।

उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर से अपने मित्रों के साथ पहली बार केदारनाथ यात्रा पर आए आकाश कुमार ने प्रशासन द्वारा लागू की गई टोकन व्यवस्था की प्रशंसा की। उन्होंने बताया कि इस व्यवस्था के चलते सभी श्रद्धालुओं को सुचारु रूप से और समय पर बाबा केदार के दर्शन हो पा रहे हैं। साथ ही उन्होंने पुलिस प्रशासन की भी सराहना करते हुए कहा कि पुलिस के जवान पूरे मार्ग पर श्रद्धालुओं की लगातार मदद कर रहे थे।राजधानी दिल्ली से केदारनाथ धाम पहुंचे प्रदीप भारद्वाज ने कहा कि धाम में सभी व्यवस्थाएं संतोषजनक थीं। उन्होंने बताया कि प्रशासन की सजगता के कारण सभी श्रद्धालुओं को दर्शन आसानी से हो रहे हैं और यात्रा शांति व व्यवस्था के साथ चल रही है। वहीं, हैदराबाद से अपने परिवार के साथ यात्रा पर आए पुनीत ने उत्तराखंड सरकार और प्रशासन का आभार प्रकट करते हुए कहा कि उन्हें अपने परिवार संग धाम में यात्रा कर आत्मिक शांति और आनंद की अनुभूति हुई। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा तीर्थयात्रियों के लिए की गई व्यवस्थाएं बेहद प्रभावी और अनुकरणीय हैं।

व्यवस्थाओं की कुशलता से बढ़ा विश्वास

केदारनाथ यात्रा मार्ग पर साफ-सफाई, स्वास्थ्य केंद्र, आपात सेवाएं, सुरक्षा व्यवस्था और आवश्यक सूचना केंद्रों की मौजूदगी श्रद्धालुओं में विश्वास को और बढ़ा रही है। पैदल मार्ग पर लगाई गई शेड, विश्राम स्थलों, जलपान केंद्रों और मेडिकल स्टेशनों ने यात्रा को सहज और सुरक्षित बनाया है।

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